Wednesday, 28 January 2015

मधेपुरा को 10 मेगावाट अतिरिक्त बिजली उपलब्ध करायी जायेगी:- मुख्यमंत्री

पटना, 27 जनवरी 2015:- मधेपुरा जिला के कुमारखंड प्रखंड अन्तर्गत टेंगराहा भोकराहा ग्राम में मुख्यमंत्री श्री जीतन राम माॅझी द्वारा मुख्यमंत्री आदर्ष ग्राम योजना का शुभारंभ दीप प्रज्जवलित कर किया गया। इस योजना के संदर्भ में मुख्यमंत्री ने बताया कि मैंने अपनी सोंच के तहत नई योजना चलाने का काम किया है, जिसका नाम मुख्यमंत्री आदर्ष ग्राम योजना है। इस योजना के तहत प्रत्येक प्रखंड में पाॅंच-पाॅंच वैसे ग्रामों का चयन किया जाएगा, जहाॅं अनुसूचित जाति के लोग ज्यादा रहते हैं। आदर्ष गाॅंव हरेक दृष्टिकोण से उन्नत एवं समुन्नत होगा। योजना के कार्यान्वयन के लिए एकमुष्त कुछ राषि उस गाॅंव में दे दी जाएगी, जिससे विकासात्मक कार्य कार्यान्वित होंगे। यदि राषि पर्याप्त नहीं हुई तो विभिन्न सरकारी योजनाओं, जो वत्र्तमान में कार्यरत हैं, उनके ब्वदअमतहमदबम के द्वारा विकास का काम पूरा किया जाएगा।
इस योजना में करोड़ों रूपये खर्च होंगे परन्तु पैसे की कोई कमी नहीं है केवल आपका और पदाधिकारियों के सहयोग की आवष्यकता है। ग्रामवासियों का सहयोग इसलिए जरूरी है कि जो योजनायें चयन होंगी, उसे ग्राम सभा द्वारा चयन करना होगा। पहले क्या काम करना है, इसके लिए प्राथमिकता तय करनी होगी, सभी काम एक ही बार पूरा नहीं किया जा सकता है इसलिए धीरे-धीरे सम्पूर्ण विकास के लक्ष्य को प्राप्त किया जाएगा। यदि योजनाओं के चयन में और प्राथमिकता के निर्धारण में भाई-भतीजावाद या बिचैलिया या ठीकेदारी की मंषा पनप गई तो इस योजना का लक्ष्य पूरा नहीं हो सकेगा। पदाधिकारियों के सहयोग की आवष्यकता इसलिए है कि जो योजनायें चयन की जाएगी, उसमें अभियंताओं एवं सुपरवाईजर को ठीक ढंग से कार्य पर लगाना होगा। एजेंसी को ठीक से लगाना होगा, मुझे यह कहने में कोई दिक्कत नहीं है कि सरकारी हो या प्राइवेट सभी एजेंसी के काम की गुणवता में काफी गिरावट आयी है। यदि आॅफिसर सचेत रहेंगे तो काम की गुणवता में कोई कमी नहीं होगी और यदि गुणवता सही होगा तो पाॅंच साल में पूरे गाॅंव का विकास हो जाएगा। सभी गली, नाली का पक्कीकरण हो जाएगा, सभी के लिए आवास उपलब्ध होगा, जरूरतमंदो को राषन कार्ड मिल जाएगा।
आदर्ष ग्राम में सभी घरों में शौचालय होगा, बड़े लोग शौचालय बना लेते हैं पर गरीब नहीं बनाते हैं। शौचालय का संबंध बीमारी से भी है, खुले में शौच करने से तरह-तरह की बीमारी पनपती है और गरीब लोग इसका जल्दी षिकार हो जाते हैं। यह एक संवेदनषील मामला भी है। शौच के लिए महिलाओं को बाहर जाना पड़ता है, जिसके कारण उनके साथ कुछ गंदे विचार वाले लोग दुव्र्यवहार करते हैं। बीमारी के दृष्टिकोण से कहा गया है कि पेषाब, पैखाना रोककर नहीं रखना चाहिए। महिलायें शौच के लिए शाम होने का इंतजार करती हैं, इस कारण उन्हें कई बीमारियाॅं घेर लेती हैं, यही कारण है कि मर्द के तुलना में औरत का उम्र कम हो जाता है इसलिए जितनी आवष्यकता षिक्षा की है उतनी आवष्यकता शौचालय की भी है। शौचालय निर्माण के लिए 15,000 रूपये दिया गया था, पर भारत सरकार ने 12,500 रूपये कर दिया। हमने इसके लिए माॅडल स्टीमेट बना दिया है। बिहार सरकार इसके लिए पैसा देगी। यदि शौचालय निर्माण के लिए अपना भी पैसा लगाना पडे़ तो लगाकर बनवा लेना चाहिए क्योंकि शौचालय बनाने से बीमारी में जो खर्च होता है वह घट जाएगा।
आदर्ष ग्राम में सभी गली का पी0सी0सी0 होगा, जो जल पलावन वाला क्षेत्र है, वहाॅं से जल की निकासी होगी। सामुदायिक भवन बनेगा, शत-प्रतिषत लोगों को राष्ट्रीय स्वास्थ्य बीमा योजना का लाभ मिलेगा। इस योजना में एक कार्ड मिलती है, इसकी सहायता से साल में 35,000 रूपये तक की बीमारी का इलाज कराया जा सकता है लेकिन इस योजना में भी कुछ बिचैलिया लोग कार्ड स्वयं रख लेते हैं। बीमार पड़ने पर वे आपको जिस दुकान या नर्सिंग होम से साॅंठ-गाॅंठ है, वहाॅं ले जाकर 500 रूपये की दवा दिलायेंगे और कार्ड पर 1500 रूपये भर देंगे इसलिए बिचैलियों से सावधान रहने की आवष्यकता है।
आदर्ष ग्राम में खाद्य सुरक्षा मिषन के तहत सभी लोगों को राषन कार्ड दिया जाएगा। इस आदर्ष ग्राम को जीविका योजना से भी आच्छादित किया जाएगा। जीविका योजना के तहत महिलायें आपस में स्वयं सहायता समूह का निर्माण करती हैं और एक-एक रूपया, दो-दो रूपया जमा करके अपनी समिति बनाती है। यह समिति ही तय करती है कि उसके किस सदस्य को बीमारी के लिए, शादी के लिए या अन्य कार्य के लिए कर्ज लेना है, इसके तहत जो भी कर्ज मिलेगा उसके लिए 4 प्रतिषत ही ब्याज देना होगा, जबकि बैंक से कर्ज लेने पर ज्यादा ब्याज चुकाना पड़ता है। सभी को इंदिरा आवास का लाभ मिलेगा परन्तु इसमें भी पारदर्षिता रखना है, अभी 12-13 अंक वाले लोगों को भी इंदिरा आवास का लाभ मिल जाता है लेकिन 5 अंक वाले को नहीं मिलता है। इस प्रकार मुख्यमंत्री आदर्ष ग्राम योजना से आच्छादित गाॅंवों में सम्पूर्ण विकास होगा।
मुख्यमंत्री ने सभा में कुछ विकास मित्रों एवं टोला सेवकों द्वारा पोस्टर बैनर पर अपनी माॅंगों को लिखकर प्रदर्षित किये जाने के संबंध में कहा कि टोला सेवक और विकास मित्र को हमने ही पैदा किया है। उनकी भलाई के लिए हम ही बेहतर सोच सकते हैं लेकिन आपलोग को जो काम करना है वो नहीं कर केवल रैली करते रहते हैं। अपनी माॅंगों के लिए प्रदर्षन करना बुरी बात नहीं है परन्तु उसके पहले जिस कार्य के लिए आपको लगाया गया था, वह काम पूरा होना चाहिए। जिस व्यक्ति को इंदिरा आवास का लाभ नहीं मिला है अथवा वैसे गरीब बच्चे जिनको 75 प्रतिषत उपस्थिति के बावजूद छात्रवृत्ति नहीं मिली है, उनके लिए रिपोर्ट करना चाहिए परन्तु मुझे दुख है कि यह सब नहीं हो पा रहा है। जिस कार्य के लिए आपको नियोजित किया गया था, वह नहीं होने से मुझे सदमा पहुॅंचता है। आपलोगों के लिए 7,000 रूपये मानदेय कर दिया गया है। आपकी सेवा 10 वर्ष की कर दी गई है, जो भी मैक्सिम करना है वह अप्रैल में कर देंगे। सत्ता में रहे या न रहें, आपके लिए जो भी करना है, वह करेंगे लेकिन पहले अपना काम पूरा करो। अभी जिस वृद्ध महिला को पेंषन दिया गया, उसकी उम्र 70-75 वर्ष है, उसे पहले क्यों नहीं दिया गया, इसे देखना चाहिए था।
अन्य योजनाओं की बात चली है तो कहना चाहता हॅंू कि हमारी सरकार ने वादा किया है कि यदि बिजली में सुधार नहीं होगा तो वोट माॅंगने नहीं आयेंगे। बिजली के लिए अलग-अलग कम्पनी का गठन किया गया है, उसी में से एक कम्पनी द्वारा ट्रांसफार्मर बदलने का काम किया जा रहा है। मैंने डी0एम0 से बात किया तो पता चला कि यहाॅं भी टेंडर हो गया है। मैंने निर्देष दिया है कि मधेपुरा में कहीं भी काम हो रहा होगा तो सबसे पहले इसी प्रखंड में शुरू किया जाय। 16 और 25 के0वी0ए0 के ट्रांसफार्मर को बदल कर 65 और 100 के0वी0ए0 का किया जा रहा है। जब इस प्रखंड में मैं आया हॅंू तो हर हालत में इस प्रखंड को सेचुरेट करने के बाद दूसरे प्रखंड में काम होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पप्पू यादव जी ने कहा कि जितनी मेगावाट बिजली मधेपुरा को मिलनी चाहिए, उतना नहीं मिल पा रहा है। पहले बिहार में 600-700 मेगावाट बिजली प्रतिदिन मिलती थी, अभी 2700-2800 मेगावाट बिजली प्रतिदिन मिल रही है। लगभग सभी जगह 4-5 घंटे से लेकर 18 घंटे तक बिजली मिल रही है। शहरों में तो 22 घंटे तक बिजली मिल रही है। अभी बिजली मंत्री भी हम ही हैं इसलिए 10 मेगावाट मधेपुरा को अतिरिक्त बिजली उपलब्ध कराने का वचन देते हैं।
रोड नंबर-18 को संज्ञान में लाया गया है तो आर0सी0डी0 को आदेष देते हैं कि वह इसे टेकअप करें एवं रोड बनावें। रमेष ऋषिदेव जी भी कई योजनाओं के संदर्भ में बातें करते रहते हैं। मैंने कहा है कि पटना आईये, वहीं सभी संबंधित विभागों को आदेष दे दिया जाएगा। मैंने यह भी सुनिष्चित कराया है कि अब यदि कोई काम करना चाहते हैं तो सी0ओ0 से जमीन का नो आॅब्जेक्षन लेने की आवष्यकता नहीं है। लाभुक यदि स्वयं लिखकर दे दें कि यह जमीन मेरी हैं तो योजना प्रारंभ कर दिया जाएगा।
कुछ दिन पूर्व मीडिया में कुछ स्थानों का प्रमण्डल, जिला, अनुमंडल, प्रखंड मुख्यालय इत्यादि बनने की खबरें आयी थी। पता नहीं किसने यह खबर दी है। जो कुछ भी लिखा जाय, सम्पुष्ट होकर ही लिखना चाहिये। प्रखंड, अनुमंडल, जिला इत्यादि का गठन करने हेतु श्री विजय कुमार चैधरी की अध्यक्षता में एक कमिटी का गठन किया गया है। वित्तीय स्थिति को देखकर निर्णय लिया जाएगा।
टोला सेवक, विकास मित्र, सांख्यिकी सहायक, आषा, रसोइया सबका पैमेंट समय पर हो, इसके लिए 57 हजार करोड़ रूपये का बजट बनाया गया था, यदि यह पास हो जाय तो किसी को भी धरना की आवष्यकता नहीं होगी परन्तु भारत सरकार द्वारा मात्र 47 हजार करोड़ रूपये का बजट पास किया गया है। 10 हजार करोड़ रूपये का बजट कट हो गया है। हमारे यहाॅं जो एन0एच0 है, उसे भारत सरकार द्वारा नहीं मरम्मत किया गया है, हमने अपने कोष से लगभग एक हजार करोड़ रूपये से मरम्मति करायी लेकिन वह राषि आज तक भारत सरकार द्वारा उपलब्ध नहीं करायी गयी। सभी एन0एच0 ठीक हो जाए, इसके लिए अतिरिक्त 8-9 हजार करोड़ रूपये चाहिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इन्दिरा आवास का टारगेट 6 लाख रहता था परन्तु आज कटौती करके 2 लाख 40 हजार कर दिया गया है। मनरेगा, बी0आर0जी0एफ0 सभी में राषि की कटौती कर दी गयी है। झारखंड बनने के बाद बिहार को 2800 करोड़ मिलना था, वह भी भारत सरकार पर बकाया है, ऐसी परिस्थिति में जो राषि मिलना था, वह मिला नहीं और जो मिल रहा था, उसमें भी कटौती कर दी गयी है तो आप ही बताइये क्या काम होगा। यदि विषेष राज्य का दर्जा मिल जाता है तो 90 एवं 10 के अनुपात में राज्यांश लगाना होगा। बची हुयी राशि से अधिक विकास किया जा सकेगा। हमें भारत सरकार से पर्याप्त राशि मिल जाय तो हम आपका सब काम पूरा करेंगे। आज जो सरकार की स्थिति है, हम उससे उबर सकते हैं। भारत सरकार ने कहा था कि काला धन हम वापस लायेंगे और सभी का खाता खुलवाया और कहा कि सभी के खाता में 10-15 लाख रूपये देंगे लेकिन आठ माह बीतने के बाद भी एक भी पैसा गरीब के खाता में नहीं गया और भारत सरकार सभी को धर्म के नाम पर बाॅंट रही है। हिन्दू, मुस्लिम, सिख इसाई सभी को काॅमन सिविल कोर्ड के तहत एक छाता के नीचे लाने का प्रयास कर रही है। आपस में भाईचारा बनाकर रखेंगे और मिलकर रहें तभी विकास होगा।
जिन नक्सलियों ने आत्मसर्मपण किया है, उन्हें मदद करना हमारी प्राथमिकता में है। सभी को 5 डिसमिल जमीन खरीद कर देंगे, जो 160 व्यक्ति ने आत्मसमर्पण किया है, उन्हें 1 लाख 50 हजार रूपये की दर से देय होगा। डी0एम0 को मैंने कहा है कि सभी केस का लिस्ट बनाकर भेजें ताकि उस पर विधिक राय हेतु एडोवोकेट जनरल से सलाह लिया जा सके और मुकदमे को समाप्त करने का प्रयास किया जा सके।
बिहारीगंज के आसपास और कुमारखंड में पाॅलिटेक्निक काॅलेज खोलने की घोषणा की गयी और यह आष्वासन दिया गया कि जब अनुमंडल बनाने की बात होगी तो कुमारखंड को ध्यान में रखा जाएगा। जिस प्रकार पुलिस, गृह रक्षक को लाभ दिया है, उसी प्रकार आषा, ममता, दीदी, रसोइया सभी को लाभ दिया जाएगा। आपलोग पढे़ं-लिखे और भाईचारा बनाकर रखें। सब्र रखें, हमारा प्रयास है कि सबको विकास का लाभ मिलें। किसी को निराष नहीं करेंगे। मुख्यमंत्री द्वारा 30 करोड़ की योजना का षिलान्यास एवं उद्घाटन एवं षिलापट्ट का आवरण रिमोट बटन दबाकर किया गया। उक्त अवसर पर मुख्यमंत्री को पुष्प-गुच्छ देकर श्रीमती तेतरी देवी, मुखिया टेंगराहा सिकियाहा पंचायत द्वारा सम्मानित किया गया। साथ ही आत्म समर्पणकारी मुनदेव सरदार एवं बुचाई सरदार द्वारा साल देकर स्वागत किया गया। मुख्यमंत्री ने भूमिहीनों को जमीन का पर्चा दिया एवं वृद्धावस्था पेंशन योजना की राषि लाभार्थियों के बीच वितरण की।
सभा को संबोधित करते हुए कृषि मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह ने कहा कि आपकी जो भी उम्मीदें होगी, जो बेवसी, गरीबी, लाचारी हैं। मुख्यमंत्री जी आपके कमी को दूर करेंगे और श्री जीतन राम मांझी दूर नहीं कर पाये तो कोई दूर नहीं कर पायेगा। पीडि़तोें की सेवा करने वाले मुख्यमंत्री उस परिवार से आते हैं, जो लोगों के बेवसी को समझते हैं। 2008 के विपदा के समय हमारी सरकार को कुंटलिया सरकार कहा जाने लगा था और सभी को एक-एक क्विंटल अनाज दिया गया था। कोई अपराधी पैदा नहीं होने पाये, इस दिषा में हमलोगों के द्वारा सार्थक प्रयास किया गया है। मुट्ठी भर लोगों के हाथ में सारी दौलत उसके तिजोरी में बंद है, इसे वापस लाकर गरीबों में बाॅंटना है।
कुछ बिचैलिये या दलाल चाहते हैं कि श्री नीतीश कुमार और श्री जीतन राम मांझी के बीच विवाद बढ़े और इस पार्टी का भला न हो लेकिन उनकी मंषा को सफल नहीं होने दिया जाएगा। यदि ऐसा ही होना होता तो श्री नीतीश कुमार क्यों श्री जीतन राम मांझी को अपना उत्तरदायित्व सौंपते। खाद के संबंध में मंत्री जी ने जिलाधिकारी को आदेष दिया है कि कहीं भी खाद की किल्लत नहीं हो, उचित दाम पर खाद मिले। यदि इसका अनुपालन नहीं होता है तो जिलाधिकारी पर कार्रवाई होगी। लालू जी जमीन के नेता हैं यह बी0पी0 मंडल की धरती है, हम विकास का रास्ता दिखायेंगे। खाद की कमी का कारण दिल्ली सरकार है। हम भारत सरकार से दस मेट्रिक टन की माॅंग करते हैं और वे 5 मेट्रिक टन ही खाद आपूर्ति कर रही है। बिहार सरकार खाद नहीं बनाती है। कृषि मंत्री ने कहा कि 1974 से ही मधेपुरा हमारी कर्मभूमि रही है। संघर्ष किया है, पूरी बिहार की जनता के लिए हर काम होगा। हमारे मुख्यमंत्री जी भी इसी सोंच के हैं, वे आपकी भलाई चाहते हैं।
मधेपुरा सांसद श्री राजेष रंजन ने कहा कि सामाजिक कुरीतियाॅ नक्सल को पैदा करने वालों, असामाजिक तत्वों के खिलाफ मुख्यमंत्री जी को पूरी ताकत से कार्य करना होगा। पहले मुट्ठी भर लोग ही शोषणकारी थे, आज शोषणकारी लोगों की संख्या बढ़ गयी है। कोषी इलाका इतना खराब स्थिति में है, हमारा इतिहास बहुत ही उत्कृष्ट कोटि का रहा है। राजनीतिज्ञों में सबसे ज्यादा कोषी के लोग हैं लेकिन इसका विकास आज तक नहीं हुआ। इसका विकास करना है, हम और हमारी सरकार कृतसंकल्पित है। पटना में बैठकर मिथिला का विकास नहीं हो सकता है, इसके लिए मिथिला विकास प्राधिकरण का गठन मुख्यमंत्री जी की अध्यक्षता में करने की आवष्यकता है एवं तब ही इस क्षेत्र का सम्पूर्ण विकास हो सकता है। उन्होंने कुमारखंड में दो प्रखंड बनाने की मांग, त्रिवेणीगंज में भी दो प्रखंड बनाने की मांग, सुपौल से खगडि़या तक के स्पर का चैड़ीकरण की मांग की, जिससे बाढ़ नहीं आयेगा। सांसद श्रीमती रंजीता रंजन ने भी इस प्रकार की मांग की थी राषन कार्ड 100 प्रतिषत लोगों को दिया जाए, 18 नं0 रोड को बना दिया जाय, कृषि मंत्री को खाद की किल्लत की जानकारी दी।
इस अवसर पर विधायक श्री रमेष ऋषिदेव, विधायक श्रीमती अमला देवी, जदयू, राजद के जिलाध्यक्ष समेत प्रमंडलीय आयुक्त श्री रामरूप सिंह, डी0आई0जी0 श्री नागेन्द्र प्रसाद सिंह, जिलाधिकारी श्री गोपाल मीणा एवं भारी संख्या में लोग मौजूद थे।
सभा के अंत में रामरूप सिंह, आयुक्त कोषी प्रमंडल सहरसा ने धन्यवाद ज्ञापन किया।
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